रक्ताल्पता होने के कारण Raktaalpata hone ke kaaran
रक्ताल्पता होने के कारण Raktaalpata hone ke kaaran
हैलो नमस्कार दोस्तों आपका बहुत - बहुत स्वागत है, इस लेख रक्ताल्पता होने के कारण (Raktaalpata hone ke kaaran) में।
दोस्तों इस लेख में आप रक्ताल्पता होने के कारण के साथ रक्ताल्पता क्या है आदि कई महत्वपूर्ण तथ्यों को जान पायेंगे। तो आइये शुरू करते है, यह लेख रक्ताल्पता होने के कारण:-
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रक्ताल्पता क्या है What is Anemia
रक्ताल्पता यह एक पोषण संबंधी (Nutrition Riletid) व गंभीर सामुदायिक स्वास्थ्य समस्या है। ज्यादातर यह पूरे देश में व्यापक है, परंतु यह प्रजनन आयु की महिला समूह और युवा बच्चों को विशेष रूप से प्रभावित करती है। यह अनुमान है, कि 50% से अधिक महिलाएं रक्ताल्पता की शिकार है।
लौह लवण और फोलिक एसिड (Folic Acid) की कमी से होने वाली रक्ताल्पता सीधे या प्रत्यक्ष रूप से 20% मात्रा मे मृत्यु के लिए जिम्मेदार है। समय से पहले जन्म और जन्म के बाद कम भोजन प्रसवकालीन मृत्यु आदि इनमें यह लक्षण अधिक मात्रा में पाए जाते हैं।
लौह लवण के मुख्य स्रोत Main sources of iron salts
लौह लवण मांस तथा सूखे मेवे में प्रमुख रूप से पाया जाता है और यह अधिक गहरे रंग की पत्ती वाली सब्जियों में जैसे पालक मेथी ,सरसों ,बथुआ
राई आदि में भी काफी मात्रा में पाया जाता है। इनके अलावा दालो, गुड़ ,खजूर ,मक्का भी लौह लवण के अच्छे स्रोत माने जाते हैं।
रक्ताल्पता के कारण Cause of Anemia
रक्ताल्पता का मुख्य कारण अपर्याप्त संतुलित आहार न लेना है। ज्यादातर गांव में महिलाएँ अपने भोजन पर ध्यान नहीं देती, वह घर के सभी लोगों के खाना खाने के बाद बचा खाना खाती हैं। कम गुणवत्ता वाला आहार जैसे आहार में घी ,दूध ,छाछ ,दही फल आदि की कमियाँ अनुपस्थित रक्ताल्पता को जन्म देती है,
जबकि रक्ताल्पता का कारण महिलाओं का अपनी सेहत के प्रति सचेत ना होना या गरीबी भी हो सकता है। इनके अलावा बार-बार गर्भधारण व उसके साथ स्तनपान भी रक्ताल्पता को बढ़ावा देता है। कई महिला गर्भावस्था धात्री अवस्था में कई खाद पदार्थो को प्रतिबंधित कर देती हैं जैसे गुड ,अमरूद आदि। इसकी वजह से भी उनके शरीर में उचित आहार न लेने से कई पोषक तत्वों की कमी हो जाती है, जिसमें लौह लवण प्रमुख है।
रक्ताल्पता के कुप्रभाव Side effects of anemia
रक्ताल्पता के सबसे अधिक पाए जाने वाले लक्षण जैसे आंखें हाथों, पैरों में पीलापन थकान, कमजोरी आदि लक्षणों को अक्सर ही अनदेखा कर दिया जाता है, परंतु इसके अनेक दुष्परिणाम है जैसे:-
- रक्ताल्पता शाला पूर्व बालक और स्कूल जाने वाले बच्चों में बुद्धिमता की कमी को जन्म देती हैं।
- रक्त की कमी के कारण शरीर में वृद्धि और विकास बाधित हो जाता है।
- गर्भावस्था में रक्ताल्पता से अनेक प्रकार की समस्याएँ उत्पन्न होती है जैसे बच्चों का जल्दी समय से पूर्व जन्म हो जाना, जन्म के बाद बच्चों की मृत्यु हो जाना आदि।
- रक्ताल्पता से सभी आयु वर्गों के लोगों में रोग प्रतिरोधक क्षमता कम हो जाती है। परिणाम स्वरूप व्यक्ति अनेक प्रकार के संक्रमण का आसानी से शिकार हो जाते हैं।
- इसके अलावा रक्ताल्पता से शरीर की आंतरिक क्रियाओं पर भी काफी दुष्प्रभाव पड़ता है जैसे अनेक हार्मोन क्रिया पर प्रतिक्रिया एवं आमाशय तथा आंतों की समस्या आदि।
- रक्ताल्पता में मांसपेशियाँ ऊर्जा का उपयोग उचित रूप से नहीं कर पाती है, इस कारण बायोस्कोप व किशोरों में प्राय: कार्य शक्ति व शारीरिक क्षमता कम हो जाती है।
दोस्तों यहाँ पर आपने रक्ताल्पता होने के कारण (Raktaalpata hone ke kaaran) तथा अन्य महत्वपूर्ण तथ्य पढ़े, आशा करता हुँ, आपको लेख अच्छा लगा होगा।
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